क्रांति समय ( दैनिक समाचार & चैनल )

राहुल गांधी मानहानि केस में सूरत कोर्ट 20 अप्रैल को सुना सकती है फैसला

सूरत,सूरत कोर्ट में राहुल गांधी मानहानि केस में सजा को लेकर दाखिल याचिका पर आज सुनवाई पूर्ण हो गई है| कोर्ट ने अपना फैसला सुरक्षित रख लिया है| जानकारी है कि सूरत कोर्ट आगामी 20 अप्रैल को अपना फैसला सुना सकती है| राहुल गांधी ने निचली अदालत द्वारा दी गई अपनी सजा पर रोक की मांग करते हुए सूरत की कोर्ट में याचिका दाखिल की थी| सूरत सेशन कोर्ट में सुनवाई के दौरान राहुल गांधी के वकील आरएस चीमा ने कहा कि उनके मुवक्कील वायनाड से रिकार्ड वोटों से जीतकर लोकसभा पहुंचे थे और उन्हें दो साल की सजा सुनाए जाने से उनकी संसद की सदस्यता रद्द कर दी गई है| राहुल गांधी ने किसी की मानहानि करने वाला बयान नहीं दिया|

उनके खिलाफ इसलिए कार्यवाही की गई, क्योंकि वह प्रधानमंत्री की आलोचना करते हैं| जिसके लिए राहुल गांधी के खिलाफ गलत ट्रायल चलाया गया| चीमा ने कहा कि राहुल गांधी को केवल आधे घंटे में दोषी ठहराकर उन्हें सजा सुना दी गई| बचाव पक्ष की ओर से मानहानि केस में विभिन्न जजमेंट के आधार पर दलील की गई| आज दोनों पक्षों की दलीलें खत्म होने के बाद कोर्ट ने 20 अप्रैल को राहुल गांधी की सजा पर स्टे देने पर फैसला सुनाएगी| शिकायतकर्ता पूर्णेश मोदी के वकील हर्षित टोलिया ने कोर्ट में दलील दी कि निचली अदालत ने इस मामले में राहुल गांधी को सजा सुनाई है| सजा से पहले निचली अदालत ने सभी प्रमाणों की जांच की और उसके बाद ही सजा का सुनाई थी| चुनाव के दौरान इस प्रकार की बयानबाजी एक गंभीर अपराध है| वकील ने कहा कि देश के दूसरे नंबर की पार्टी और उसके सांसद होने के नाते इस प्रकार की बयानबाजी करने से बचना चाहिए| आरोपी के खिलाफ फौजदारी मानहानि के 10 से 12 केस दर्ज हैं और सुप्रीम कोर्ट भी उन्हें फटकार लगा चुकी है| कोर्ट ने आरोपी को दोषी करार दिया है और उसके बाद भी उनका कहना है कि उन्होंने कुछ गलत नहीं कहा| यह आरोपी का अभिमान है| आरोपी का कहना है कि उनके क्षेत्र में उपचुनाव हो सकता है और वह उसमें उम्मीदवारी करना चाहते हैं| इतना ही नहीं वह उपचुनाव में भारी बहुमत से जीतने का दावा भी करते हैं| सवाल यह है कि क्या ऐसे समय में इन दावों को ध्यान में लिया जा सकता है|

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