Home देश-दुनिया अहमदाबाद की रथयात्रा को लगा कोरोना का ग्रहण, हाईकोर्ट ने लगाई रोक

अहमदाबाद की रथयात्रा को लगा कोरोना का ग्रहण, हाईकोर्ट ने लगाई रोक

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अहमदाबाद (एजेंसी), उड़ीसा के बाद अहमदाबाद में निकलने वाली दूसरी सबसे बड़ी रथयात्रा को भी कोरोना का ग्रहण लग गया है| सुप्रीम कोर्ट पहले ही उडीसा के पुरी में जगन्नाथजी की रथयात्रा पर रोक लगा चुकी है और अब गुजरात हाईकोर्ट ने भी अहमदाबाद में रथयात्रा पर रोक लगा दी है| हाईकोर्ट के इस फैसले से अहमदाबाद में रथयात्रा की ऐतिहासिक परंपरा टूट गई है| पिछले किसी भी विकट परिस्थिति में पिछले 142 सालों के दौरान रथयात्रा नहीं रुकी, परंतु यह पहला मौका है जब भगवान जगन्नाथजी नगरचर्या को नहीं निकलेंगे| दरअसल गुजरात में कोरोना के बढ़ते मामलों को देखते हुए गुजरात हाईकोर्ट में जनहित याचिका दाखिल की गई थी| पत्रकार और एक्टिविस्ट हितेश चावडा ने वकील ओम कोटवाल के द्वारा गुजरात हाईकोर्ट में जनहित याचिका दाखिल कर इस वर्ष रथयात्रा के आयोजन पर रोक लगाने की मांग की थी| सुनवाई के दौरान हाईकोर्ट ने राज्य सरकार से सवाल किया कि रथयात्रा के आयोजन के लिए एक महीने पहले मंजूरी मांगी गई थी, तो अब तक इस फैसला क्यों नहीं किया गया? केन्द्र सरकार ने अनलॉक-1 की घोषणा की, जिसकी गाइडलाइन में धार्मिक सरघस निकालने पर प्रतिबंध है| हाईकोर्ट ने सुप्रीम कोर्ट के पुरी की रथयात्रा पर आदेश का उल्लेख करते हुए अनुच्छेद-25 के मुताबिक धार्मिक गतिविधियां भी कानून और व्यवस्था के मुताबिक होनी चाहिए| याचिका पर सुनवाई के दौरान राज्य सरकार ने कहा कि अहमदाबाद में 18 किलोमीटर रथयात्रा में करीब 7-8 लाख श्रद्धालु शामिल होते हैं, जिसकी वजह से कोरोना संक्रमण फैल सकता है| इन संभावनाओं को देखते हुए हाईकोर्ट ने 143वीं रथयात्रा पर रोक लगा दी है|
गौरतलब है कि गुजरात में अब तक कोरोना के 26737 मामले दर्ज हो चुके हैं और 1639 मरीजों की मौत हो चुकी है| कोरोना के 26737 में से 18564 मामले इकलौते अहमदाबाद में दर्ज हुए हैं, जबकि 1312 मरीजों की कोरोना से अब तक मौत हो चुकी है| हांलाकि राज्य सरकार ने भी रथयात्रा के आयोजन को मंजूरी नहीं दी थी| गत बुधवार को गृह राज्यमंत्री प्रदीपसिंह जाडेजा ने कहा था कि सभी पहलुओं पर गौर करने के पश्चात ही रथयात्रा के आयोजन पर फैसला किया जाएगा|

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