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अमर उजाला नेटवर्क, प्रयागराज Published by: विनोद सिंह Updated Tue, 05 Oct 2021 03:03 AM IST
पहले एसआईटी और अब सीबीआई, 14 दिन और 1000 लोगों से पूछताछ। तफ्तीश, बयान, सबूत और न जाने क्या-क्या। लेकिन इन सबके बावजूद अखाड़ा परिषद अध्यक्ष की मौत अब भी राज बनी हुई है। मामला सीबीआई के हाथों में जाने के बाद एसआईटी चुप होकर बैठ गई। उधर 10 दिन से जांच में जुटी सीबीआई की ओर से अब तक एक बार भी यह नहीं बताया गया कि मामले में वह किस निष्कर्ष पर पहुंची है या जांच की मौजूदा स्थिति क्या है। ऐसे में तमाम सवाल अब भी अनसुलझे हैं।
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