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मैनपुरी: बर्खास्त सिपाही ने बनाया गैंग, मुठभेड़ में गिरफ्तार होने पर खुले अपहरण और वसूली के कई राज

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सार

बुधवार को एसपी अशोक कुमार राय ने प्रेसवार्ता कर बताया कि पकड़ा गया अनुज कुमार निवासी नौरोजपुर बागपत बर्खास्त सिपाही है। उस पर कई आपराधिक मामले दर्ज हैं। वह खुद को एसओजी का सिपाही बताकर अपहरण व वसूली की वारदात अंजाम देता था।

मैनपुरी: पुलिस ने पकड़े बदमाश
– फोटो : अमर उजाला

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बागपत का रहने वाला एक बर्खास्त सिपाही नकली एसओजी की टीम बनाकर अपहरण व वसूली की वारदात अंजाम दे रहा था। बुधवार को एसपी ने प्रेसवार्ता कर बताया कि गैंग का सरगना बर्खास्त सिपाही है। बर्खास्त सिपाही को मंगलवार को  गिरफ्तार कर लिया गया था। फर्रुखाबाद एसओजी और थाना पुलिस ने खडसरिया बॉर्डर पर घेराबंदी कर गैंग के चार अन्य सदस्य भी मुठभेड में गिरफ्तार कर लिए। उनके कब्जे से दो कार, तमंचा कारतूस और कुछ नकदी बरामद हुई।
एसओजी का सिपाही बता रहा था
थाना किशनी क्षेत्र के गांव नगला इंदे निवासी रणधीर सिंह उर्फ राजा को 27 नवंबर को कार सवार पांच लोग गाड़ी में जबरदस्ती डाल ले गए थे। कार में वर्दी में बैठा एक व्यक्ति खुद को एसओजी का सिपाही बता रहा था। काफी देर तक रणधीर को घुमाने के बाद परिजनों से 60 हजार रुपये लेकर उसे छोड़ दिया था। उक्त घटना के बाद सोमवार को फिर से रणधीर को नकली एसओजी की टीम उठाकर ले गई और झूठे मामले में फंसाने की धमकी देकर रुपये की मांग कर रही थी।
मुठभेड़ में पकड़ा
इसकी जानकारी परिजनों ने थाना पुलिस को दी थी। वहीं फर्रुखाबाद एसओजी टीम प्रभारी बलराम सिंह भाटी भी एक मामले में नगला इंदे निवासी एक व्यक्ति की तलाश में आए थे। वहां रणधीर के अपहरण की जानकारी होने के बाद फर्रुखाबाद एसओजी और थाना पुलिस ने खडसरिया बॉर्डर के पास कार सवार नकली एसओजी के लोगों की घेराबंदी की। खुद को घिरता देख कार सवार लोगों ने पुलिस टीम पर फायरिंग की। मुठभेड़ के दौरान फर्रुखाबाद एसओजी और थाना पुलिस ने कार सवार सभी लोगों को गिरफ्तार कर लिया। 

गैंग ने लूट की वारदातें भी कीं 
बुधवार को एसपी अशोक कुमार राय ने प्रेसवार्ता कर बताया कि पकड़ा गया अनुज कुमार निवासी नौरोजपुर बागपत बर्खास्त सिपाही है। उस पर कई आपराधिक मामले दर्ज हैं। वह खुद को एसओजी का सिपाही बताकर अपहरण व वसूली की वारदात अंजाम देता था। रणवीर का अपहरण व वसूली के अलावा चार दिसंबर को बिछवां एक दंपती से भी लूट की वारदात की थी। वहीं 2019 में दन्नाहार क्षेत्र में एक दंपती से लूट की थी। अनुज के गैंग में अनुज उर्फ अमित निवासी गांव रमपुरा किशनी, कुलदीप निवासी नगला दीपा भोगांव, सूर्यप्रताप उर्फ सूर्या निवासी नगला सहन कुर्रा और अनुपम निवासी गपकापुर किशनी शामिल हैं। इनके कब्जे से वारदात में प्रयुक्त दो कारें, तमंचा कारतूस और फिरौती के 13150 रुपये भी बरामद हुए हैं।

सिपाही की जमानत कराने वालों पर भी होगी कार्रवाई
अपहरण व वसूली की वारदात अंजाम देने वाला बर्खास्त सिपाही अनुज चौधरी कुछ दिनों पहले ही जेल से छूटा है। उस पर दन्नाहार, थाना कुर्रा, फिरोजाबाद सहित करीब 10 से अधिक आपराधिक मामले दर्ज हैं। बर्खास्त सिपाही जनपद में प्रशिक्षण लेने के बाद काफी समय तक तैनात रहा था, वहीं उस पर लूट आदि के मुकदमा दर्ज होने के बाद उसे बर्खास्त किया गया था। बर्खास्त होने के बाद भी पुलिस की वर्दी पहन कर वह अपने गैंग के लोगों के साथ अपहरण व वसूली की वारदात कर रहा था। 

जमानत लेने वालों पर भी होगी कार्रवाई 
बर्खास्त सिपाही आपराधिक मामले में जेल में था। लेकिन कुछ दिनों पहले उसकी जमानत करा ली गई। इसके बाद से वह फिर से आपराधिक गतिविधियों में लिप्त हो गया। एसपी अशोक कुमार ने सर्विलांस सेल प्रभारी जोगेंद्र सिंह से कहा कि पता करें कि सिपाही की जमानत कौन करा रहा है। उसके खिलाफ भी सख्त कार्रवाई की जाए। 
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विस्तार

बागपत का रहने वाला एक बर्खास्त सिपाही नकली एसओजी की टीम बनाकर अपहरण व वसूली की वारदात अंजाम दे रहा था। बुधवार को एसपी ने प्रेसवार्ता कर बताया कि गैंग का सरगना बर्खास्त सिपाही है। बर्खास्त सिपाही को मंगलवार को  गिरफ्तार कर लिया गया था। फर्रुखाबाद एसओजी और थाना पुलिस ने खडसरिया बॉर्डर पर घेराबंदी कर गैंग के चार अन्य सदस्य भी मुठभेड में गिरफ्तार कर लिए। उनके कब्जे से दो कार, तमंचा कारतूस और कुछ नकदी बरामद हुई।

एसओजी का सिपाही बता रहा था

थाना किशनी क्षेत्र के गांव नगला इंदे निवासी रणधीर सिंह उर्फ राजा को 27 नवंबर को कार सवार पांच लोग गाड़ी में जबरदस्ती डाल ले गए थे। कार में वर्दी में बैठा एक व्यक्ति खुद को एसओजी का सिपाही बता रहा था। काफी देर तक रणधीर को घुमाने के बाद परिजनों से 60 हजार रुपये लेकर उसे छोड़ दिया था। उक्त घटना के बाद सोमवार को फिर से रणधीर को नकली एसओजी की टीम उठाकर ले गई और झूठे मामले में फंसाने की धमकी देकर रुपये की मांग कर रही थी।

मुठभेड़ में पकड़ा

इसकी जानकारी परिजनों ने थाना पुलिस को दी थी। वहीं फर्रुखाबाद एसओजी टीम प्रभारी बलराम सिंह भाटी भी एक मामले में नगला इंदे निवासी एक व्यक्ति की तलाश में आए थे। वहां रणधीर के अपहरण की जानकारी होने के बाद फर्रुखाबाद एसओजी और थाना पुलिस ने खडसरिया बॉर्डर के पास कार सवार नकली एसओजी के लोगों की घेराबंदी की। खुद को घिरता देख कार सवार लोगों ने पुलिस टीम पर फायरिंग की। मुठभेड़ के दौरान फर्रुखाबाद एसओजी और थाना पुलिस ने कार सवार सभी लोगों को गिरफ्तार कर लिया। 

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