प्रतापगढ़/लखनऊ। उत्तर प्रदेश के प्रतापगढ़ में टीवी पत्रकार सुलभ श्रीवास्तव की मौत के मामले में कोलवाली पुलिस स्टेशन में हत्या का मुकदमा दर्ज कर लिया गया है। पहले पुलिस ने बताया था कि सुलभ की मौत एक हादसे में हुई थी। इसके बाद मृतक की पत्नी ने आरोप लगाया था कि पुलिस व प्रशासन की लापरवाही के चलते उनके पति की हत्या शराब माफियाओं ने कर दी है। इसी बीच, सुलभ की हत्या मामले में राजनीति गरमा गई है। विपक्षी दलों के नेता प्रदेश की योगी सरकार पर हमलावर हो गए हैं।
पत्रकार सुलभ श्रीवास्तव ने अपनी जान का खतरा महसूस करते हुए घटना के दो दिन पहले पुलिस अधीक्षक से लिखित शिकायत की थी और अपने जान व माल की रक्षा की मांग की थी। पुलिस अभी सड़क दुर्घटना में सुलभ श्रीवास्तव की मृत्यु मानकर जांच कर रही है। पुलिस अधीक्षक आकाश तोमर ने बताया कि घटनास्थल का निरीक्षण किया गया है जहां उनका शव पाया गया था। पुलिस अधीक्षक ने घटना के सभी पहलुओं पर गहराई से छानबीन जांच करने संबंधी आवश्यक निर्देश दिया। सुलभ श्रीवास्तव के शव को पोस्टमार्टम रिपोर्ट के लिए भेजा गया है। पोस्टमार्टम हाउस में पहुंच कर सांसद संगम लाल गुप्त ने पत्रकारों से शोक व्यक्त किया और शराब माफियाओं के खिलाफ आवाज उठाने वाले पत्रकार की शहादत को नमन किया। सांसद ने मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ, सचिव गृह अवनीश अवस्थी, अपर मुख्य सचिव सूचना नवनीत सहगल से तत्काल बात कर मृतक के परिजनों को आर्थिक सहायता, आवासीय सुविधा और घटना की निष्पक्ष जांच कराकर दोषियों के विरूद्ध कठोर कार्रवाई की मांग की।
प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री व सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव ने ट्वीट कर यूपी सरकार पर निशाना साधा है और साथ ही, मामले की उच्च स्तरीय जांच की मांग की है। अखिलेश यादव ने ट्वीट किया कि प्रतापगढ़ में एक कथित हादसे में एक टीवी पत्रकार की संदिग्ध मौत बेहद दुखद है। भावभीनी श्रद्धांजलि! भाजपा सरकार इस मामले में एक उच्च स्तरीय जांच बैठाकर परिजन और जनता को ये बताए कि पत्रकार द्वारा शराब माफिया के हाथों हत्या की आशंका जताने के बाद भी उन्हें सुरक्षा क्यों नहीं दी गयी।