जबलपुर हाईकोर्ट के जस्टिस अतुल श्रीधरन ने मंत्री विजय शाह की टिप्पणी का संज्ञान लेते हुए अगले 4 घंटे में उनके खिलाफ बीएनएस की धारा 152, 196(B), 197 और बीएसएस की धारा 122 के तहत प्राथमिकी दर्ज करने का आदेश दिया है। ये सभी धाराएं गैर जमानती बताई जा रही हैं। भारतीय सेना की कर्नल सोफिया कुरैशी के खिलाफ विवादित टिप्पणी करने वाले मध्य प्रदेश की बीजेपी सरकार के मंत्री विजय शाह की मुश्किलें बढ़ गई हैं। जबलपुर हाईकोर्ट ने राज्य के डीजीपी को मंत्री विजय शाह के खिलाफ 4 घंटे के अंदर विभिन्न धाराओं के तहत प्राथमिकी दर्ज करने का आदेश दिया है।

हाईकोर्ट का हस्तक्षेप :
जबलपुर हाईकोर्ट ने इस मामले में स्वत: संज्ञान लिया है। न्यायमूर्ति अतुल श्रीधरन और न्यायमूर्ति अनुराधा शुक्ला की खंडपीठ ने आदेश दिया कि सरकार 4 घंटे के भीतर इस मंत्री के खिलाफ एफआईआर दर्ज करे और शाम 6 बजे तक रिपोर्ट पेश करे। हालांकि मंत्री विजय शाह ने सार्वजनिक रूप से माफी मांगी, लेकिन अदालत ने इसे पर्याप्त नहीं माना। मोहन सरकार (मध्य प्रदेश) पर दबाव बढ़ता जा रहा है, और मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार उन्हें मंत्री पद से हटाया जा सकता है।
कर्नल सोफिया कुरैशी कौन हैं?
पहली महिला अफसर जिन्होंने एक सैन्य दल का अंतरराष्ट्रीय स्तर पर नेतृत्व किया है। सेना में उनका योगदान गौरवपूर्ण और प्रेरणादायक माना जाता है। इस घटनाक्रम के कारण भाजपा के लिए महिला सम्मान और राष्ट्रवाद जैसे मुद्दों पर संतुलन बनाए रखना चुनौती बन सकता है। हाईकोर्ट द्वारा स्वत: संज्ञान लेना न्यायपालिका की सक्रियता का संकेत है, जो संवेदनशील मामलों में निष्क्रियता को सहन नहीं करेगी।
इस बीच खबर है कि मध्य प्रदेश की बीजेपी सरकार के मंत्री कुंवर विजय शाह की मुश्किलें पार्टी के अंदर भी बढ़ने वाली हैं। कर्नल सोफिया कुरैशी के भाई ने पीएम मोदी से मंत्री विजय शाह के बयान पर संज्ञान लेने की मांग की थी। जिसके बाद कल शाम यह मामला गृह मंत्री अमित शाह के समक्ष पहुंच गया। अब चर्चा है कि मंत्री विजय शाह का इस्तीफा हो सकता है।
