सूरत, सचिन GIDC क्षेत्र में नए स्थापित और विस्तार करने वाले उद्योगों को टेक्सटाइल पॉलिसी का लाभ नहीं मिलने की बात से उद्योगपति उलझन में हैं। इसी के चलते सचिन इंडस्ट्रियल को.ऑप. सोसायटी लिमिटेड ने राज्य के उद्योग और खनिज विभाग के संयुक्त सचिव को पत्र लिखकर इस मुद्दे पर स्पष्टता की मांग की है।
टेक्सटाइल पॉलिसी के नियम नंबर 3.17 की गलत व्याख्या की जा रही है। इसलिए सचिन GIDC में गुजरात टेक्सटाइल पॉलिसी का लाभ दिए जाने की मांग उद्योगपतियों ने की है। गुजरात सरकार द्वारा टेक्सटाइल पॉलिसी जारी की गई है, जिसमें नियम 3.17 के अनुसार शहरी क्षेत्र (SMC की सीमा) में आने वाले उद्योगों को टेक्सटाइल पॉलिसी का लाभ नहीं दिया जाएगा। सचिन इंडस्ट्रियल को.ऑप. सोसायटी लिमिटेड के अध्यक्ष निलेश गामी और सचिव मयूर गोलवाला ने बताया कि सचिन GIDC में लगभग 2250 औद्योगिक प्लॉट हैं और इनमें से 1750 टेक्सटाइल उद्योग से संबंधित हैं। वहीं, लगभग 500 टेक्सटाइल इकाइयों में विस्तार या नए प्रोजेक्ट की योजना बनाई जा रही है। लेकिन टेक्सटाइल पॉलिसी के नियम 3.17 की गलत व्याख्या की जा रही है, जिससे उद्योगपतियों को परेशान होना पड़ रहा है।
टेक्सटाइल पॉलिसी के नियम 3.17 में शहरी क्षेत्रों में आने वाले नोटिफाइड क्षेत्रों का भी जिक्र किया गया है। हालांकि, सचिन GIDC शहरी क्षेत्र यानी SMC की सीमा में नहीं आता है। सचिन GIDC के उद्योगों द्वारा टैक्स SMC में नहीं, बल्कि नोटिफाइड क्षेत्र में दिया जाता है। इस वजह से सचिन GIDC के उद्योगों पर टेक्सटाइल पॉलिसी का नियम 3.17 लागू नहीं होता। यह नियम केवल शहरी क्षेत्र में आने वाले GIDC उद्योगों पर लागू हो सकता है। इसी कारण सचिन GIDC के उद्योगों को टेक्सटाइल पॉलिसी का लाभ मिलेगा या नहीं, इस पर स्पष्टता के लिए अपील की गई है।